UP Lucknow : लखनऊ के इंदिरा नगर क्षेत्र की निवासी और पुणे में कार्यरत सॉफ्टवेयर इंजीनियर, वंदना द्विवेदी, की उनके प्रेमी द्वारा 27 जनवरी की देर रात एक होटल में हत्या कर दी गई। इस घटना को उनके प्रेमी ने एक लॉज में अंजाम दिया, जहाँ उन्हें गोली मारी गई। मुंबई पुलिस ने इस मामले में आरोपी को गिरफ्तार किया और सोमवार को उसे जेल भेज दिया गया। पुलिस अब साक्ष्य एकत्र करने और इस वारदात के पीछे की असली वजह का पता लगाने की प्रक्रिया में लगी हुई है।
इंदिरानगर, सेक्टर 11 की रहने वाली 26 वर्षीय वंदना और जानकीपुरम विस्तार के निवासी ऋषभ निगम के बीच एक प्रेम संबंध था। 27 तारीख की रात, दोनों पुणे के पिंपरी चिंचवड़ इलाके के हिंजवडी में एक लॉज के कमरे नंबर 306 में रुके हुए थे। उस रात, ऋषभ ने वंदना पर पिस्टल से तीन गोलियां चलाईं, जिनमें से दो उसके सिर में और एक उसके सीने में लगी। इसके बाद ऋषभ वहां से फरार हो गया। पुणे पुलिस द्वारा अलर्ट जारी किए जाने के कुछ ही घंटों में मुंबई पुलिस ने एक चेकिंग के दौरान ऋषभ को पकड़ लिया। वंदना मूलतः गोंडा की रहने वाली थीं, लेकिन उनका परिवार इंदिरानगर में रहता था। इस घटना की सूचना मिलने पर उनके माता-पिता जो कि प्रयागराज में थे, और उनके दो भाई पुणे के लिए रवाना हो गए।
पुलिस उपायुक्त बापू बांगर के अनुसार, ऋषभ ने 25 जनवरी को लॉज में चेक-इन किया था। अगले दिन उसकी मुलाकात वंदना से हुई। शनिवार की रात को, दोनों एक साथ लॉज में गए थे। इस दौरान के सीसीटीवी फुटेज इकट्ठे किए गए हैं, जिसमें आरोपी को आते और जाते हुए कैद किया गया है। ऋषभ की गिरफ्तारी के समय उसके पास से एक पिस्टल भी बरामद हुई थी। उसके खिलाफ हत्या और आर्म्स एक्ट के अंतर्गत मामला दर्ज किया गया है।
Mumbai Police : वंदना की हत्या के बाद, ऋषभ मुंबई की ओर भाग गया, जहां पुलिस ने उसे धर दबोचा। उस होटल के कमरे को, जहां वंदना की लाश पाई गई थी, पुलिस ने सील कर दिया है और अब उस मामले की गहनता से जांच की जा रही है। पुलिस यह भी पता लगा रही है कि वह बंदूक, जिसका उपयोग ऋषभ ने कथित रूप से अपनी प्रेमिका की हत्या के लिए किया था, उसे कहाँ से प्राप्त हुई। 26 वर्षीय वंदना द्विवेदी, जिनकी पुणे में एक दुखद घटना में मौत हो गई, की पेशेवर पहचान इंफोसिस में एक टेक्निकल एक्सपर्ट के रूप में थी। इस घटना के आरोपी ऋषभ निगम को रविवार देर रात नवी मुंबई (ठाणे) में एक पुलिस नाकाबंदी के दौरान उस हथियार के साथ पकड़ा गया, जिसका उपयोग उन्होंने कथित रूप से वंदना की हत्या में किया था। पुलिस के पास घटना के बाद आरोपी के होटल से भागने की सीसीटीवी फुटेज भी मौजूद है, जो उनकी गिरफ्तारी में महत्वपूर्ण साक्ष्य के रूप में काम आई।
पुणे के सहायक पुलिस आयुक्त विशाल हिरे के अनुसार, रविवार सुबह उन्हें सूचना मिली कि हिंजवडी क्षेत्र के लक्ष्मी चौक में गोलीबारी हुई है। पुलिस टीम जब मौके पर पहुंची तो उन्हें होटल ओयो टाउन हाउस के कमरे नंबर 306 में गोलीबारी की घटना का पता चला। जब पुलिस कमरे में पहुंची, तो वहां वंदना द्विवेदी का शव पाया गया। सीसीटीवी फुटेज और होटल बुकिंग के समय किए गए रजिस्ट्रेशन के आधार पर पता चला कि ऋषभ निगम नामक एक युवक 25 जनवरी से वंदना के साथ इसी कमरे में ठहरा हुआ था। इस मामले में आगे की जांच और कार्रवाई जारी है।
27 जनवरी को हिंजवडी के लक्ष्मीनगर इलाके में स्थित एक होटल में कमरा बुक किया गया था, जहाँ वंदना द्विवेदी ऋषभ निगम से मिलने पहुंची थीं। प्रारंभिक जांच से यह सामने आया है कि वंदना के पुणे में काम करने के निर्णय के बाद दोनों के बीच संबंधों में खटास आ गई थी, जिसके चलते शनिवार की देर रात होटल के कमरे में झगड़ा और मारपीट हुई हो सकती है। पुलिस के मुताबिक, गुस्से में आकर निगम ने अपनी पिस्तौल निकाली और वंदना पर गोलियां चला दीं, और फिर मौके से फरार हो गया। होटल के स्टाफ ने रविवार को वंदना के रक्तरंजित शव को गोली के निशान के साथ पाया और तत्काल पुलिस को सूचना दी, जिसने निगम की गिरफ्तारी के लिए खोजी अभियान शुरू किया।