UP Crime News : उत्तर प्रदेश के जौनपुर जिले में हाल ही में एक विचित्र घटना सामने आई। बशीरपुर गांव के विनोद बिन्द की बेटी के विवाह समारोह में अजीबोगरीब मोड़ आया जब शादी की जयमाल की रस्म से पहले ही दूल्हा लापता हो गया। यह घटना 29 अप्रैल की रात को घटी। बारात निर्धारित समय पर रात 8 बजे लड़की के घर पहुंची थी और द्वारपूजा के बाद अचानक दूल्हा गायब हो गया। इस घटना के बाद दुल्हन पक्ष ने दूल्हे के परिवार के सदस्यों और अन्य बारातियों को बंधक बना लिया
बशीरपुरा गांव में विनोद कुमार बिंद की पुत्री साधना की शादी की घटना ने अजीबोगरीब मोड़ लिया। यह शादी रंजीत बिंद पुत्र जगदंबा बिंद, सिसवारा नरवे जनपद आजमगढ़ के साथ रविवार को तय हुई थी। समारोह में बारात धूमधाम से बशीरपुरा पहुंची और बड़े हर्षोल्लास के साथ उनका स्वागत हुआ। बारातियों ने डीजे पर नाचते-गाते हुए द्वार पूजा की रस्में अदा कीं। इसी बीच, जब खाने और जयमाल की तैयारी चल रही थी, तभी दुल्हन के चचेरे भाई का एक वीडियो सामने आया जिसमें वह दुल्हन को गोद में उठाते हुए दिखाई दिया। इस वीडियो को कुछ महिलाओं ने दूल्हे को भेज दिया, जिससे नाराज होकर दूल्हा जनवासे से फरार हो गया।
विनोद बिंद की पुत्री साधना बिंद का विवाह आजमगढ़ जिले के मार्टिनगंज स्थित सिसवारा पोस्ट नर्वे के निवासी रंजीत बिंद के साथ निश्चित हुआ था। 28 अप्रैल, रविवार को, बशीरपुर पहुंची बारात का धूमधाम से स्वागत किया गया। बारातियों ने डीजे बैंड की धुनों पर नाचते-गाते हुए द्वारपूजा की रस्में अदा कीं। जयमाल की तैयारियों के बीच, अप्रत्याशित रूप से दूल्हा वहां से फरार हो गया।
गांव के एक तालाब के पास झाड़ियों में छुपा हुआ दूल्हा मिला जैसे ही दूल्हे के गायब होने की खबर मिली, घराती पक्ष के लोगों में खलबली मच गई। स्थानीय ग्रामीणों की मदद से दूल्हे को आखिरकार पकड़ा गया और बारात में वापस लाया गया। बताया जाता है कि दूल्हा गांव के तालाब के किनारे झाड़ियों में छुपकर बैठा था। इस घटना के बाद लड़की और लड़के के परिजनों के बीच तीव्र कहासुनी हुई, जिसके परिणामस्वरूप लड़की के परिवार ने दूल्हा समेत लड़के के पिता, भाई और अन्य बारातियों को बंधक बना लिया। रात भर खोज के बाद, दूल्हा दो घंटे की मेहनत के बाद पकड़ा गया।
बारातियों को 20 घंटे तक बंधक बनाए रखा गया घटना की सूचना मिलते ही सरायख्वाजा पुलिस सहित गांव के वरिष्ठ निवासियों ने मौके पर पहुँचकर विवाद सुलझाने की कोशिश की। शादी की रस्म अदायगी के लिए प्रयास किया गया, परंतु लड़के की तरफ से शादी न करने का फैसला सुनाया गया। इसके बाद, लड़की पक्ष ने दिए गए पैसे और अन्य खर्चों की भरपाई की मांग की। इस मांग को लड़के के परिवार ने स्वीकार कर लिया और सोमवार की शाम को, पुलिस की उपस्थिति में, एक राजीनामा तैयार किया गया जिसमें शादी पर हुए कुल 7 लाख रुपये का भुगतान लड़की के पिता को करने की बात कही गई। पंचायत और दोनों परिवारों की सहमति के बाद, यह राशि अदा की गई और इसके 20 घंटे बाद बंधकों को रिहा किया गया। इस दौरान, थानाध्यक्ष राजेश मिश्रा सहित अन्य पुलिस अधिकारी मौके पर मौजूद रहे।
दूल्हे ने विवाह न करने की वजह बताई लड़की के पिता विनोद ने बताया कि द्वार पूजा के तुरंत बाद लड़का गायब हो गया था। तिलक समारोह में उन्होंने तीन लाख 51 हजार रुपये दिए थे, और इसके अतिरिक्त 51 हजार और मांगी गई थी। लड़की की मां, शिला देवी ने बताया कि वे और दहेज नहीं दे सकते और उन्होंने शादी में हुए खर्चे की भरपाई की मांग की। उन्होंने स्पष्ट किया कि वे अपनी बेटी की शादी उस परिवार में नहीं करेंगे। दूल्हा रंजीत कुमार बिंद ने जवाब दिया कि किसी को दोष देना उचित नहीं होगा। उन्होंने कहा कि विवाह से जुड़ी कुछ बातें उन्हें ऐसी लगीं जो भविष्य में समस्या उत्पन्न कर सकती थीं, इसलिए शादी न करना उनके लिए बेहतर था।
ग्रामीणों और रिश्तेदारों ने दूल्हे को समझाने की कोशिश की, लेकिन 21 घंटे बीतने के बावजूद कोई समझौता नहीं हो सका। शादी की रस्में अधूरी रह गईं और लड़की गंभीर आरोपों के कारण बेहद परेशान थी। लड़की पक्ष ने दहेज में दी गई रकम और शादी में हुए खर्च की वापसी की मांग पर अड़े रहे। पुलिस और ग्रामीणों के हस्तक्षेप के बाद, दहेज और शादी के खर्च की रकम अदा करने पर अंततः उन्हें मुक्त किया गया। सदर सीओ परमानन्द कुशवाहा ने स्पष्ट किया कि दोनों पक्षों के समझाने के बाद सुलह हुई है और अभी तक किसी पक्ष से शिकायत प्राप्त नहीं हुई है। यदि शिकायत दर्ज की जाती है तो बंधक बनाने के मामले पर कार्रवाई की जाएगी।