UP Crime : उत्तर प्रदेश के बस्ती जिले में, एक बहू ने अपने ससुर की हत्या कर दी। वह अपने ससुर की देखभाल और उनके इलाज से तंग आ गई थी। इन सब परिस्थितियों से मुक्ति पाने के लिए उसने अपने ससुर का जीवन समाप्त कर दिया। तीन दिनों के बाद, पुलिस ने इस हत्याकांड की जानकारी जारी की है। इस मामले में आरोपी बहू को पुलिस ने गिरफ्तार किया है।
वास्तव में, बस्ती जिले के गौर थाने के छीतही गांव में 15 जनवरी की रात को 75 वर्षीय वृद्ध रामकुमार की हत्या हो गई थी। घटना के समय घर में मौजूद बहू ने पुलिस को बताया कि घर में चुपके से किसी ने प्रवेश किया और हत्या करके भाग निकला। पुलिस ने अनजान हत्यारे की खोज शुरू की। किन्तु अपराध स्थल से मिले संकेतों से पुलिस को आभास हुआ कि यह काम किसी घर के सदस्य ने किया है। पुलिस ने जब बहू सावित्री से कड़ी पूछताछ की तो उसने अपने बयान बदलने शुरू कर दिए। पुलिस की कठोरता के सामने सावित्री ने हार मान ली और हत्या का राज खोल दिया।
गौर थाने के अंतर्गत छीतही गांव में 15 जनवरी की रात को 75 वर्षीय वृद्ध की हत्या की गई थी। हत्या को गला घोंटकर किया गया था। पूछताछ के दौरान, बहू ने इस अपराध का आरोप किसी और पर मढ़ दिया था। तीन दिन बाद, आज पुलिस ने इस मामले का खुलासा किया है।
पुलिस के अनुसार, इस हत्याकांड की योजना किसी और ने नहीं, बल्कि मृतक की छोटी बहू सावित्री ने बनाई थी। कारण यह था कि उनके ससुर अक्सर बीमार रहते थे, जिससे सावित्री को उनकी देखभाल करनी पड़ती थी। इससे वह बहुत परेशान हो गई थी। इसी वजह से कभी-कभी ससुर और बहू के बीच विवाद भी हो जाता था। इससे तंग आकर सावित्री ने अपने बुजुर्ग ससुर को हटाने की योजना बनाई।
बहू का कहना था कि उसके ससुर अक्सर अपशब्द बोलते थे, जिससे परेशान होकर उसने लकड़ी से उनका गला दबा दिया। उनकी हत्या के बाद, उसने हत्या में प्रयुक्त लकड़ी को जला दिया। आरोपी पर IPC की धारा 302 और 201 के तहत मामला दर्ज कर उसे जेल भेजा गया है। नगर पंचायत बभनान के आदिशक्ति नगर वार्ड निवासी रामकुमार यादव के पिता माताराम छितहां गांव में अलग एक झोपड़ी में रहते थे, जो घर से 50 मीटर दूर थी। सोमवार की रात को उनकी बहू सावित्री पास में अलाव ताप रही थी, तब उसने शोर मचाया और बताया कि किसी ने उसे धक्का दिया और वह डर कर भागी। वापस आने पर उसने देखा कि उसके ससुर का गला किसी धारदार हथियार से काट दिया गया था।
“ससुर की हत्या के बाद शोर मचाने वाली सावित्री की गढ़ी हुई कहानी ने उसे खुद ही फंसा दिया। उसका दावा था कि एक डरावना व्यक्ति, जो चादर में लिपटा था, आया और उसके ससुर का गला काट दिया। उसकी इस कहानी पर किसी को विश्वास नहीं हो रहा था। उसने यह भी कहा कि उस व्यक्ति ने पहले उसे धक्का दिया और वह डर से भाग गई, लेकिन उसका चेहरा नहीं देख पाई। पुलिस को इसी से शक हुआ। पोस्टमार्टम रिपोर्ट ने स्पष्ट किया कि मृत्यु दम घुटने से हुई थी और गला काटने की कोई बात नहीं पाई गई। बुधवार को पुलिस की कठोर पूछताछ में सावित्री ने आखिरकार कबूल किया कि उसने झूठी कहानी बनाई थी।