Uttaat Pardesh Murder Case : उत्तर प्रदेश के आगरा निवासी एक व्यापारी ने मथुरा के वृंदावन स्थित एक होटल में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। वह वृंदावन घूमने की बात कहकर घर से निकला था। उसके कमरे से सुसाइड नोट भी मिला है। खबर मिली तो घर में चीख-पुकार मच गई। शोर सुनकर आसपास के लोग आ गए। वह परिजन को ढांढस बंधाते रहे संजीव कुमार गुप्ता उर्फ संजय ने 14 सितंबर को ही सुसाइड करने का मन बना लिया था। उनके द्वारा इसी दिन सुसाइड नोट लिख लिया था। सुसाइड नोट पर लिखी तारीख से पुलिस इस नतीजे पर पहुंची है। इससे यह तो साफ हो गया है कि संजीव कुमार सुसाइड के उद्देश्य से ही मथुरा आया था
वीडियो काल से कराए थे दर्शन : कोतवाली पुलिस ने दरवाजा तोड़कर कमरे में प्रवेश किया। संजीव का शव बाथरूम के हैंगर में लगे फंदे पर लटका मिला। पुलिस ने परिवार वालों को सूचना दी। मृतक के साले देवेंद्र गुप्ता ने बताया कि 18 सितंबर को संजीव वृंदावन घूमने की बात कहकर घर से निकले थे। 19 की शाम चार बजे उनकी आखिरी बार परिवार से फोन पर बात हुई। इसके बाद फोन बंद हो गया। परिजन उनकी तलाश में लगे थे व्यापारी की बेटी युक्ती गुप्ता ने थाना फतेहाबाद में तहरीर देकर बताया था कि पिता 18 सितंबर को शाम 4 बजे वृंदावन गए थे। 19 सितंबर को दोपहर 12:30 बजे भगवान बांके बिहारी के वीडियो कॉल करके दर्शन कराए थे। शाम को चार बजे होटल पहुंचने की जानकारी दी। शाम को घर की बात बताई। इसके बाद फोन बंद हो गया। रात 12 बजे फोन खुला था, लेकिन बात नहीं हुई। पुलिस ने बुधवार दोपहर को घटना की जानकारी दी सूचना पर पहुंची पुलिस की मौजूदगी में कमरा खोला गया। संजीव फंखे पर फंदे से लटक रहा था। पुलिस ने शव को नीचे उतारा और पोस्टमॉर्टम के लिए भेजा। पुलिस को वहां एक विजिटिंग कार्ड मिला। इस पर घर और रिस्तेदार के नंबर लिखे थे। पुलिस ने फोन करके घर में सूचना दी वहीं मौके पर सुसाइड नोट भी मिला। इस पर संजीव ने आत्महत्या के पीछे का कारण कर्ज लिखा था। लिखा था कि फतेहाबाद क्षेत्र के आसपास के चार लोगों ने उनसे 20 लाख रुपये उधार लिए थे। वह पैसा वापस नहीं दे रहे थे। संजीव ने बाजार से कुछ पैसा उधार लिया था, कर्जदार अपना पैसा वापस मांग रहे थे। इससे वह तनाव में थे और यह कदम उठाया। संजीव को दो बेटियां आईसी गुप्ता (21), युक्ति गुप्ता (19) और एक बेटा अगम गुप्ता (17) है
तत्काल उनके परिवार वालों को सूचना देते हुए शव पोस्टमार्टम को भेजा। दोपहर एक बजे परिवार वाले पोस्टमार्टम हाउस पहुंचे। मृतक की पत्नी के भाई देवेंद्र गुप्ता ने बताया कि 18 सितंबर को संजीव वृंदावन घूमने की बात कहकर घर से निकले थे। 19 की शाम चार बजे उनकी आखिरी बार परिवार से फोन पर बात हुई। इसके बाद फोन बंद हो गया। परिवार ने इस संबंध में फतेहाबाद थाने में गुमशुदगी भी दर्ज कराई थी परिवार से छुपा रखा था उधारी का राज संजीव गुप्ता के परिवार में उनकी पत्नी पूनम गुप्ता, बेटी आयुषी, युक्ति और बेटा अगम है। संजीव के साले देवेंद्र गुप्ता ने बताया कि जीजा द्वारा कभी भी परिवार को उधारी के संबंध में कुछ नहीं बताया था। सुभाष त्यागी और नवल सिंह से भी परिवार वाले परिचित नहीं हैं। आत्महत्या के संबंध में थाना फतेहाबाद में पूर्व में दर्ज कराई गुमशुदगी को ही आत्महत्या के लिए दुष्प्रेरित करने के मुकदमे में तरमीम करने को तहरीर दी गई है। सुसाइड नोट और पोस्टमार्टम रिपोर्ट को इसका आधार बनाया गया है