Adani Power Share: Adani Power Ltd को मिला 1,600 MW क्षमता का ऑर्डर
अडानी पावर लिमिटेड (APL), भारत की सबसे बड़ी निजी क्षेत्र की थर्मल पावर जनरेटर कंपनी, ने एमपी पावर मैनेजमेंट कंपनी लिमिटेड (MPPMCL) से 1,600 मेगावाट की अतिरिक्त क्षमता प्राप्त करने के लिए एक लेटर ऑफ अवार्ड (LoA) प्राप्त किया है। यह अतिरिक्त 800 मेगावाट की क्षमता “ग्रीनशू ऑप्शन” के तहत प्रदान की गई है। यह आदेश कंपनी को पिछले 12 महीनों में प्राप्त हुए पांचवे प्रमुख पावर सप्लाई ऑर्डर में से एक है।
ग्रीनशू ऑप्शन क्या है?
ग्रीनशू ऑप्शन एक वित्तीय विकल्प है, जिसे आमतौर पर आईपीओ (Initial Public Offering) में उपयोग किया जाता है, लेकिन अब इसे थर्मल पावर टेंडर के लिए भी अपनाया गया है। इसका उद्देश्य अतिरिक्त पावर कैपेसिटी प्रदान करना है, जो संभावित रूप से भविष्य में किसी विशेष प्रोजेक्ट के लिए अधिक समर्थन प्रदान करेगा।
एमपी पावर मैनेजमेंट कंपनी लिमिटेड का आदेश
Adani Power Share: अडानी पावर को यह 1,600 मेगावाट की क्षमता एमपी पावर मैनेजमेंट कंपनी लिमिटेड (MPPMCL) द्वारा हाल ही में संपन्न टेंडर प्रक्रिया के तहत दी गई है। इस प्रक्रिया में पहले 800 मेगावाट की क्षमता प्रदान की गई थी, और इसके बाद ग्रीनशू ऑप्शन के तहत अतिरिक्त 800 मेगावाट की क्षमता प्रदान की गई। इस अतिरिक्त क्षमता को अनूपपुर जिले में स्थापित किया जाएगा।
निवेश और रोजगार
Adani Power Share; इस प्रोजेक्ट के लिए अडानी पावर लिमिटेड 21,000 करोड़ रुपये का निवेश करेगी। यह संयंत्र 60 महीनों के भीतर स्थापित किया जाएगा और इसके निर्माण के दौरान लगभग 9,000 से 10,000 लोगों को प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रोजगार मिलेगा। जब संयंत्र संचालन में आएगा, तब करीब 2,000 लोगों को स्थायी रोजगार मिलेगा।
Adani Power Share: अडानी पावर की रणनीतिक बढ़त
अडानी पावर लिमिटेड ने अब तक 7,200 मेगावाट की कुल क्षमता प्राप्त की है, जो कंपनी की समग्र ऊर्जा उत्पादन क्षमता को बढ़ाती है। इसके अलावा, कंपनी का लक्ष्य 2031-32 तक अपनी कुल क्षमता को 41.87 गीगावॉट तक बढ़ाना है। इस बढ़ती क्षमता के साथ अडानी पावर, भारत की ऊर्जा सुरक्षा और आर्थिक विकास में महत्वपूर्ण योगदान देने के लिए प्रतिबद्ध है।
मुख्यमंत्री और अडानी पावर के सीईओ की प्रतिक्रिया
अडानी पावर के सीईओ एस.बी. खयालिया ने इस अवसर पर कहा, “हम खुश हैं कि अडानी पावर ने न केवल मध्य प्रदेश में 800 मेगावाट की परियोजना हासिल की, बल्कि ग्रीनशू ऑप्शन के तहत अतिरिक्त 800 मेगावाट भी प्राप्त किया। यह हमारे पावर सप्लाई के प्रति प्रतिबद्धता को और मजबूत करता है।” उन्होंने यह भी कहा कि यह परियोजना मध्य प्रदेश के साथ हमारी लंबी अवधि की साझेदारी को और सुदृढ़ करती है।
800 MW की अतिरिक्त क्षमता का टैरिफ
इस अतिरिक्त 800 मेगावाट की क्षमता के लिए वही टैरिफ लागू होगा जो पहले 800 मेगावाट की क्षमता के लिए तय किया गया था। इस टैरिफ की दर ₹5.838 प्रति किलावाट-घंटा है।
अडानी पावर का भविष्य
अडानी पावर अपने नए 1,600 मेगावाट (800 मेगावाट X 2) अल्ट्रा-सुपरक्रिटिकल थर्मल पावर यूनिट का निर्माण करेगा। यह संयंत्र डिज़ाइन, बिल्ड, फाइनेंस, ओन और ऑपरेट (DBFOO) मॉडल के तहत स्थापित किया जाएगा। इसके अलावा, अडानी पावर जल्द ही राज्य वितरण कंपनियों (Discom) के साथ पावर सप्लाई एग्रीमेंट (PSA) पर हस्ताक्षर करेगी।
नतीजा
Adani Power Share: अडानी पावर की यह वृद्धि कंपनी के लिए भविष्य में और अधिक अवसर उत्पन्न करेगी। इस तरह के महत्वपूर्ण प्रोजेक्ट्स से कंपनी की शक्ति उत्पादन क्षमता में वृद्धि होगी और इससे कंपनी के शेयर की कीमत में भी सकारात्मक प्रभाव पड़ने की संभावना है।
अडानी पावर के निवेशकों के लिए यह एक अच्छा संकेत है, क्योंकि कंपनी की कुल क्षमता और निवेश लगातार बढ़ रहे हैं। अब जब अडानी पावर ने 7,200 मेगावाट की क्षमता प्राप्त कर ली है, तो भविष्य में इस कंपनी का प्रदर्शन और भी बेहतर हो सकता है, जिससे यह भारतीय ऊर्जा उद्योग के सबसे प्रमुख खिलाड़ियों में से एक बन जाएगा।
इस प्रकार, “Adani Power Share” को लेकर निवेशकों के बीच उम्मीदें और सकारात्मक दृष्टिकोण हैं, जो कि कंपनी की आगामी परियोजनाओं और दीर्घकालिक रणनीतियों से जुड़ी हुई हैं।
Read More:
Urban Company IPO: 35% GMP के साथ बिडिंग शुरू, सब्सक्राइब करें या छोड़ें?
Leave a Reply