Aap Ki Khabar

Yamuna River Flood 2023: गाजियाबाद के इस गांव में पानी में डूबे कई घर

सामग्री सूची

Toggle

गाजियाबाद के इस गांव में पानी में डूबे कई घर:  यमुना का जलस्तर बढ़ने के बाद गाजियाबाद के लोनी में दर्जनों गांव में पानी ही पानी है. बहुत सारे लोगों के खेत डूब गए हैं. पानी खेतों में भर गया है. वहां मौजूद घर में पूरी तरह पानी भर चुका है. कुछ घर तो डूबने के कगार पर है. जो बाढ़ से प्रभावित लोग हैं उन्हें सुरक्षित जगह ले जाया जा रहा है. लोनी के पंचायत बदरपुर गांव के पास पानी पहुंच गया है.

Ghaziabad :  बागपत की सीमा में बृहस्पतिवार को पानी के बहाव से पुश्ता

 करीब एक फुट टूटा था। पानी इतनी तेजी से निकल रहा था कि कुछ ही घंटों में पुश्ता करीब 30 फुट टूट गया था। पुश्ता टूटने के बाद पानी तेजी से बागपत और लोनी के अलग-अलग गांव की तरफ बढ़ने लगा था। इसकी सूचना मिलते ही गाजियाबाद प्रशासन मौके पर पहुंचा। उन्होंने बागपत के अधिकारियों को जल्द रेस्क्यू करने को कहा। लेकिन रेस्क्यू समय पर नहीं हो सका। रेस्क्यू समय पर नहीं होने पर 24 घंटे के अंदर पानी के बहाव ने करीब 100 फुट चौड़ा पुश्ता तोड़ दिया। शुक्रवार को पानी लोनी के 7 गांव में करीब 4 से 5 फुट तक भरने से गांव में बाढ़ के हालत बन गए। इसके बाद कुछ ग्रामीण पानी से होकर अपने घरों को छोड़कर सुरक्षित स्थान पर जाने लगे। कुछ ग्रामीणों ने अपने घरों के सामान को ऊपर मंजिल पर रख लिया। कुछ ग्रामीण अभी भी अपने घरों में फंसे हैं। पानी में फंसे ग्रामीणों को निकालने के लिए एनडीआरएफ की टीम को बुलाना पड़ा। एनडीआरएफ की टीम नाव के माध्यम से लोगों को बाहर निकालने में जुट गए। जिन लोगों को सुरक्षित बाहर निकाला जा रहा है। नगरपालिका लोनी उन लोगों के ठहरने के लिए पुश्ता के ऊपर ही टेंट लगा रही है।

पत्थर डलवाकर पानी के बहाव को रोकने का प्रयास: पानी रोकने के लिए प्रशासन ने दिल्ली और आसपास के इलाकों से बड़े-बड़े पत्थर मंगाए हैं। इन पत्थरों को पानी मे डाला जा रहा है। जिससे पानी का बहाव कम हो सके। पानी का बहाव कम होने के बाद पुश्ते का निर्माण किया जाएगा। वहीं बागपत प्रशासन भी पुश्ता के निर्माण करने में जुटा है।

गाजियाबाद :  राजधानी दिल्ली के बाद यमुना का पानी अब यूपी के गाजियाबाद में भी घुसने लगा है. यमुना में आई बाढ़ से लोनी इलाके के दर्जनों गांव डूब गए हैं. कई घरों में पानी घुस चुका है तो कई डूबने का कगार पर हैं. बाढ़ को देखते हुए जिला प्रशासन ने गांव से लोगों को बाहर निकालने का काम भी शुरू कर दिया है.

Exit mobile version