Murder Case NEWS : महाराष्ट्र के गढ़चिरौली जिले में एक घटना आई जिसमें 20 दिनों के भीतर एक परिवार के पांच सदस्यों की मौत हो गई और तीन सदस्यों को तबियत खराब होने के कारण अस्पताल में भर्ती कराया गया। सभी को समान लक्षण थे, जैसे शरीर में दर्द, बोलने में मुश्किल, और होंठ के काले पड़ने लगे थे। इस घटना ने पुलिस को भी हैरान कर दिया और उन्होंने कई टीमों की गठन की। वे झारखंड से लेकर तेलंगाना तक एक्टिव किया। इस प्रक्रिया के दौरान दो सच्चाईयां सामने आईं, जो वाकई हैरानी में डाल देने वाली थीं। पुलिस ने इसके बाद अपने नेटवर्क को एक्टिव किया और इस प्रक्रिया के दौरान दो इस तथ्यों का पता चला, जिन्होंने सचमुच हराने वाले थे
डरावनी मौत की इस कहानी ने जादू छू लिया: जो घटना महगाव गांव, गढ़चिरौली जिले के अहेरी तहसील में हुई, उसने सचमुच डरावनी और रहस्यमयी दुनिया की खिड़की खोल दी। एक परिवार जिसमें पांच सदस्य शामिल थे, उनकी अचानकी मौत ने सबकी आंखों में आंसू और आश्चर्य का संगम पैदा किया। यह उस समय की बात है जब शंकर कुंभारे और उसके परिवार के सदस्य पूरी तरह से स्वस्थ थे, और इस घटना के पहले उन्हें किसी प्रकार की बीमारी नहीं थी एसपी नीलोत्पल ने बताया कि इस दुखद स्थिति में, शंकर कुंभारे के परिवार का आलंब खो गया था। उनकी बेटी कोमल दहागावकर, उनके बेटे रोशन कुंभारे, और उनकी बेटी आनंदा उर्फ वर्षा उराडे, ये तीनों परिवार के सदस्य, अलग-अलग चिकित्सकों के पास भेजे गए थे, लेकिन उनकी स्थिति में किसी भी सुधार की ओर वृद्धि नहीं हो रही थी। इस परिणामस्वरूप, कोमल दहागांवकर की मौके पर चली गई और 8 अक्टूबर को उनकी मौत हो गई, जबकि आनंदा (वर्षा उराडे) ने 14 अक्टूबर को दम तोड़ दिया। इसके बाद, रोशन कुंभारे की मौत 15 अक्टूबर को हो गई
अचानक बिगड़ी तबीयत : यह घटनाक्रम यहां नहीं थमा, बल्कि परिवार के ड्राइवर, राकेश मडावी, भी अचानक बीमार हो गये थे। उन्होंने शंकर कुंभारे और विजया कुंभारे को इलाज के लिए चंद्रपुर ले जाया था। राकेश को हालत बिगड़ने के दूसरे दिन चंद्रपुर के एक निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया था। इस बात का आश्चर्य था कि इन सभी मामलों में एक ही बीमारी के संकेत थे। इसके अलावा, एक रिश्तेदार जो परिवार की सहायता के लिए चंद्रपुर और नागपुर आया था, वो भी अचानक बीमार हो गया और उसे अस्पताल में भर्ती कराना पड़ा। चिकित्सा अधिकारी ने बताया कि इन तीनों व्यक्तियों की हालत अब स्थिर है और उनके स्वास्थ्य में सुधार हो रहा है
बहू पर था शक : एसपी ने बताया कि इस मामले की जांच के दौरान शक के आधार पर पुलिस ने एक महिला पर ध्यान केंद्रित किया, जिनका नाम संघमित्रा था, और वह मृतक शंकर कुंभारे की बहू और रोशन कुंभारे की पत्नी थी। उनके दोनों पति की मौत हो चुकी थी। जांच के दौरान पुलिस को पता चला कि संघमित्रा ने बीएससी एग्रीकल्चर में शीर्षक प्राप्त किया था और उसने अपने माता-पिता के खिलाफ रोशन के साथ अपनी स्वतंत्र इच्छा से शादी की थी। कुछ महीने पहले, उसके पिता ने आत्महत्या कर ली थी, और उसके बाद से वह परेशान थी। इसके अलावा, उसके पति रोशन और उसके ससुराल वालों के तानों और अत्याचार का शिकार होती थी, और यही कारण था कि वो उन सभी से मुक्ति पाना चाहती थी
दो महिलाओं ने रची जहरीली साजिश : संघमित्रा और रोजा ने इस तरह की योजना बनाई कि वे एक जहरीली साजिश करें, जिसमें शुरू में वे ने ऑनलाइन शोध किया कि कैसे एक ऐसा जहर तैयार किया जा सकता है, जिसे उन्होंने शंकर कुंभारे और उनके परिवार के अन्य लोगों को नुकसान पहुंचाने के लिए प्रयोग किया। उन्होंने जहर के बारे में ऑनलाइन रिसर्च की और जांच की, कैसे यह जहर पानी या खाने के साथ मिलाया जा सकता था, जिससे उसकी पहचान मुश्किल होती उनकी साजिश के मुताबिक, रोजा रामटेके ने तेलंगाना में जहर खरीदा था। वह इस जहर को शंकर कुंभारे और उनके परिवार के दूसरे सदस्यों के खाने-पीने में मिला दिया था। अब परिवार के दूसरे दो सदस्य और उनके ड्राइवर भी अस्पताल में भर्ती हैं। पुलिस अब इस शंका में है कि पांच लोगों को जहरीली मौत देने वाली संघमित्रा और रोजा किसी और अपराध में भी शामिल हो सकती हैं। उन्हें गिरफ्तार किया गया है और अब उनकी पूछताछ की जा रही है